देव गति के ४ भेद हैं—भवनवासी, व्यन्तरवासी, ज्योतिर्वासी एवं वैमानिक। सम्यग्दृष्टि जीव वैमानिक देवों में ही उत्पन्न होते हैं। भवनत्रिक (भवन, व्यन्तर, ज्योतिष्क देव) में उत्पन्न नहीं होते हैं क्योंकि ये जिनमत के विपरीत धर्म को पालने वाले हैं, उन्मार्गचारी हैं, निदानपूर्वक मरने वाले हैं, अग्निपात, झंझावात आदि से मरने…